Pneumosil: भारत की सबसे बड़ी वैक्सीन निर्माता कम्पनी सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (Serum Institutes of India) ने देश को एक स्वदेशी वैक्सीन की सौगात दी है। पुणे स्थित फार्मा कम्पनी ने भारत की पहली पूर्ण स्वदेशी ( भारत में ही विकसित और उत्पादित) न्यूमोकोकल वैक्सीन न्यूमोसिल (Pneumosil) को केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ( Dr. Harsh Vardhan) की उपस्थिति में लॉन्च करने की घोषणा की। गौरतलब है कि सीआईआई आंकड़ों के आधार पर दुनिया के सबसे बड़ा वैक्सीन निर्माता कम्पनी है। सीरम ने सोमवार को जानकारी दी कि पूरी तरीके से स्वदेशी वैक्सीन न्यूमोसिल को लॉन्च किया जा रहा है। न्यूमोकोकल रोगों के खिलाफ असरदार बता दें कि, न्यूमोसिल (Pneumosil) को सीरम इंस्टीट्यूट, पीएटीएच और बिल एंड मेलिंडा गेट्स फाउंडेशन के बीच एक दशक में सहयोग के माध्यम से विकसित किया गया है। इसे महत्वपूर्ण मील का पत्थर माना जा रहा है, जो कि न्यूमोकोकल कंजुगेट वैक्सीन सामथ्र्य में सुधार लाने और निम्न और मध्यम आय वाले देशों के लिए स्थायी पहुंच को सक्षम करेगा। इस टीके को बच्चों में न्यूमोकोकल रोगों (निमोनिया) के खिलाफ असरदार और लंबी अवधि तक सुरक्षा प्रदान करने वाला माना जा रहा है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने इस अवसर पर अपने संबोधन में कहा, “यह देश की सार्वजनिक स्वास्थ्य देखभाल के लिए एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है, जो यह सुनिश्चित करेगा कि बच्चों को एक सस्ती और उच्च गुणवत्ता वाले टीके (वैक्सीन) के साथ न्यूमोकोकल बीमारी से बेहतर तरीके से बचाया जा सके।” It was indeed a matter of great pride to have launched today, India’s 1st indigenous Pneumococcal Conjugate Vaccine called Pneumosil. Developed by @SerumInstIndia, it’s a shining example of India’s capacity & capability of manufacturing sophisticated vaccines.@MoHFW_INDIApic.twitter.com/hfXXparwbk 5 साल से छोटे बच्चों के लिए निमोनिया का खतरा बहुत अधिक न्यूमोसिल के लॉन्च के बारे में, सीरम इंस्टीट्यूट के सीईओ अदार पूनावाला ने कहा, “वर्षों से हमारा निरंतर प्रयास नियमित आपूर्ति के साथ उच्च गुणवत्ता वाले टीके प्रदान करना रहा है, जो दुनियाभर में बच्चों और परिवारों के लिए उत्कृष्ट प्रतिरक्षण कवरेज सुनिश्चित करता है।” उन्होंने कहा कि यह बच्चों को न्यूमोकोकल बीमारी से बचाने के लिए एक आदर्श विकल्प है। अदार पूनावाला ने कहा कि इस बीमारी की वजह से दुनियाभर में पांच साल से कम उम्र के बच्चों के लिए खतरा बना रहता है। 2018 में इस वजह से 67,800 बच्चों की मौत पांच साल से कम उम्र में हो गई। ऐसे बच्चों को बचाने में यह वैक्सीन कारगर रहेगी। सीरम इंस्टीट्यूट वह दवा कंपनी है, जो भारत में ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका कोविड-19 वैक्सीन का परीक्षण और उत्पादन कर रही है। (स्रोत –आईएएनएस, एकेके/एसजीके) Published : December 29, 2020 8:00 am | Updated:December 29, 2020 8:01 am